इस पोस्ट में रायगढ़ जिले में फेमस पर्यटन स्थलों की बात करेंगे। छत्तीसगढ़ में कोयला की खदानों, स्टील और बिजली उत्पादन के लिए फेमस रायगढ़ तेजी से विकसित होने वाले शहरों में गिना जाता है।
यहां छोटे-बड़े कई उद्योग हैं, जहां हजारों लोगों को रोजगार मिला हुआ है। प्राकृतिक
की सुंदरता भी यहां बिखरी हुई है।
राबो डैम कैसे जाएं
व्यू पॉइंट से राबो डैम का नजारा। |
रायगढ़ सिटी से करीब 25 किलोमीटर की दूरी पर राबो डैम स्थित है. यह भी पिकनिक स्पॉट के रूप में फेमस है। यहां आप फैमिली या दोस्तों के साथ जा सकते है।
यहां प्रकृति की सुंदरता आपको देखने को मिलेगी। पहाड़ों से घिरे इस जगह से डूबते सूरज को देखना भी एक अनुभव है। 783 वर्ग किलोमीटर में फैला यह डैम जिंदल पावर प्लांट की पानी की जरूरतों को पूरा करता है।
डैम के गेट से लगी एक छोटी पहाड़ी है। पहाड़ी की चोटी पर व्यू पॉइंट बनाया गया है, यहां से शानदार लोकेशन दिखता है। सड़क मार्ग से आप यहां जा सकते हैं। सड़क की स्थिति उतनी अच्छी नहीं है। नजदीकी रेलवे स्टेशन रायगढ़ है।
राम झरना कैसे जाएं
राम झरना। |
रायगढ़ शहर से करीब 18 किलोमीटर की दूरी पर राम झरना स्थित है। कहा जाता है की भगवान राम पत्नी सीता और भाई लक्ष्मण के साथ वनवास के दौरान यहां आए थे।
इस दौरान उन्होंने इस झरने का पानी पीया था। इस कारण इस झरने को राम झरना के नाम से जाना जाता है। परिवार और दोस्तों के साथ यहां आना एक बढ़िया ऑप्शन है।
झरने के आसपास बंदर, हिरण और कई तरह की पक्षियों को देखा जा सकता है। प्राकृतिक सुंदरता से घिरे इस झरने की बात ही अलग है। बरसात के समय में झरने के आसपास फिसलन ज्यादा होती है
इसलिए सावधानी बरतें। राम वन गमन पथ में आने के कारण इस जगह को और सवांरा जायेगा। सड़क मार्ग से यहां जाया जा सकता है। नजदीकी रेलवे स्टेशन रायगढ़ है।
सिंघनपुर गुफा कैसे जाएं
सिंघनपुर गुफा। |
रायगढ़ शहर से करीब 20 किलोमीटर की दूरी पर सिंघनपुर गुफा स्थित है। छत्तीसगढ़ की लोकप्रिय गुफाओं में इसका नाम आता है। जानकारी के अनुसार गुफा करीब 30 हज़ार साल पुरानी है
इसकी खोज 1910 में हुई थी। यह लगभग 300 मीटर लंबी और करीब 7 फुट चौड़ी है। गुफा में बनी पेंटिंग बहुत प्राचीन है। इसमें 23 कलाकृतियां देखने को मिलती हैं।
बहुत पुरानी होने के कारण अब 13 पेंटिंग ही दिख पाती हैं, वह भी धुंधली अवस्था में हैं। यहां पर ट्रैकिंग की सुविधा भी है। ट्रैकिंग के दीवानों के लिए यह जगह खास है। गुफा से 3 किलोमीटर की दूरी पर भूपदेवपुर रेलवे स्टेशन है। सड़क मार्ग और ट्रेन दोनों से यहां जाया जा सकता है।
गोमर्डा वन्यजीव अभ्यारण्य कैसे जाएं
गोमर्डा अभ्यारण्य का गेट। |
रायगढ़ शहर से करीब 60 किलोमीटर की दूरी पर गोमर्डा वन्यजीव अभ्यारण्य स्थित है। सारंगढ़ के पास स्थित यह अभयारण्य 275 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है।
यहां जंगली जानवरों की विभिन्न प्रजातियां देखने को मिलती हैं। वन भैंसा और भालू यहां आसानी से देखने को मिल जाते हैं। नेचर के बीच जाकर उसे एंजॉय करना अगर आप का शौक है तो आप यहां आकर निराश नहीं होंगे। सड़क मार्ग से यहां जाया जा सकता है। नजदीकी रेलवे स्टेशन रायगढ़ है।
गौरी शंकर मंदिर कैसे जाएं
गौरी शंकर मंदिर, रायगढ़। |
रायगढ़ रेलवे स्टेशन के पास स्थित गौरी शंकर मंदिर शहर का एक प्रसिद्ध मंदिर है। जानकारी के अनुसार सेठ किरोड़ीमल जी ने इस मंदिर का निर्माण करवाया था।
किरोड़ीमल बहुत ही दयालु प्रवृत्ति के व्यक्ति थे। उन्होंने मंदिर के साथ-साथ कई स्कूल, कॉलेज और भवन बनाने में भी अपना योगदान दिया. मंदिर को बहुत सुंदर तरीके से डिजाइन किया गया है। सड़क मार्ग से यहां जाया जा सकता है। पास में ही रायगढ़ रेलवे स्टेशन है।
इंदिरा विहार जू कैसे जाएं
इंदिरा विहार जू का गेट। |
रायगढ़ शहर से करीब 2 किलोमीटर की दूरी पर गोवर्धनपुर विनोवा नगर इलाके में इंदिरा बिहार जू स्थित है। यह एक चिड़िया घर है जो लगभग 40 हेक्टेयर में फैला हुआ है।
1988 में निर्मित यह जगह पिकनिक स्पॉट के रूप में फेमस है। जू में जंगली सूअर, शीतल भालू, खरगोश आदि देखने को मिलते हैं। यहां परिवार और दोस्तों के साथ आप जा सकते हैं। सड़क मार्ग से यहां जाया जा सकता है। नजदीकी रेलवे स्टेशन रायगढ़ है।
कमला नेहरू पार्क कैसे जाएं
कमला नेहरू पार्क, रायगढ़। |
रायगढ़ शहर में सुकून के दो पल बिताने के लिए कमला नेहरू पार्क बेस्ट जगह है। चक्रधर नगर में बने इस पार्क में हर दिन रौनक दिखती है। पार्क में बच्चों के एंटरटेनमेंट का भी ध्यान रखा गया है।
उनके लिए फिसलपट्टी, झूले आदि लगे हुए हैं। वर्तमान में कोरोना महामारी के कारण यह पार्क बंद है। यहां फैमिली और फ्रेंड के साथ आप क्वालिटी टाइम बिता सकते हैं।
पार्क में फूलों की बहुत सारी वैरायटी है। सड़क मार्ग से यहां जाया जा सकता है। नजदीकी रेलवे स्टेशन रायगढ़ है।
मोती महल कैसे जाएं
मोती महल, रायगढ़। |
पर्यटकों के लिए मोती महल विशेष आकर्षण का केंद्र है। इसकी बनावट को देखने पूरे छत्तीसगढ़ से पर्यटक यहां आते हैं। जानकारी के अनुसार 1904 में राजा जुझारसिंह ने इसका निर्माण करवाया था।
महल के पास में ही समलेश्वरी माता का मंदिर है। महल के बगल से एक नहर भी गुजरती है। सड़क मार्ग से यहां जाया जा सकता है। नजदीकी रेलवे स्टेशन रायगढ़ है।
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